Global Economy decline: विश्व की अर्थव्यवस्था में तेजी से गिरावट दर्ज की जा रही है। यह आशंका विश्व बैंक ने जताई है। विश्व बैंक के मुताबिक विश्व अर्थव्यवस्था वैश्विक अर्थव्यवस्था (Global Economy) की वृद्धि दर में गिरावट आने की संभावना है। वैश्विक अर्थव्यवस्था
में गिरावट का कारण कोविड—19 महामारी के अलावा रूस यूक्रेन युद्ध और तेजी से बढ़ती ब्याज दरों को माना है। रूस-यूक्रेन युद्ध का दुष्प्रभाव और कोविड-19 महामारी का असर पूरे विश्व की अर्थव्यवस्था पर बना हुआ है।
2023 में वैश्विक अर्थव्यवस्था वृद्धि दर 2.1 प्रतिशत
विश्व के 189 देशों में गरीबी खत्म करने लिए प्रयासरत विश्व बैंक ने नवीनतम वैश्विक आंकड़ों को प्रदर्शित करते हुए कहा कि 2023 वित्त वर्ष में वैश्विक अर्थव्यवस्था की वृद्धि दर 2.1 फीसद रहेगी। जबकि 2022 में यह 3.1 फीसद रही थी।
विश्व बैंक ने ‘वैश्विक आर्थिक संभावना’ नाम से जारी की अपनी रिपोर्ट में कहा है कि साल 2023 के लिए नया वृद्धि अनुमान जनवरी के पिछले अनुमान से कुछ बेहतर है। विश्व बैंक ने जनवरी में जारी की रिपोर्ट के बाद कहा था कि वैश्विक वृद्धि दर इस वर्ष मात्र 1.7 फीसद रहेगी।
भारतीय अर्थव्यवस्था के 6.3 फीसद दर से बढ़ने का अनुमान
विश्व बैंक ने भारत अर्थव्यवस्था के इस साल 2023 में 6.3 फीसद की दर से बढ़ने की संभावना जताई है। यह अन्य प्रमुख देशों में सबसे ज्यादा है। 2022 वित्त वर्ष में भारत की वृद्धि दर 7.2 फीसदी थी।
दुनिया की बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में केंद्रीय बैंक साल 2022 से नीतिगत ब्याज दरों में बढ़ोतरी का रुख अपनाए हैं। बढ़ती महंगाई पर काबू पाने के लिए फेडरल रिजर्व और दूसरे केंद्रीय बैंकों ने ब्याज दरें बढ़ा दी हैं। इसने महामारी की चोट से उबरने में जुटी वैश्विक अर्थव्यवस्था के सामने और अधिक चुनौती बढ़ाने का काम किया है।
इसके अलावा यूक्रेन रूस युद्ध की वजह से ऊर्जा एवं खाद्य आपूर्ति संकट बरकरार है। कोविड-19 महामारी के लंबे समय से प्रभाव बना हुआ है। इसके बाद भी विश्व बैंक को लगता है कि 2024 वित्त वर्ष में वैश्विक अर्थव्यवस्था 2.4 फीसद की वृद्धि दर हासिल करने में सफल होगी।
विश्व बैंक ने बड़ी अर्थव्यवस्था अमेरिका के लिए वर्ष 2023 में वृद्धि दर 1.1 फीसद रहने का अनुमान जताया। यह निचले स्तर पर है। लेकिन
जनवरी के पिछले अनुमान से करीब दोगुना मानी जा रही है। जबकि यूरोपीय संघ में वृद्धि दर 0.4 फीसद रहने का अनुमान है। रूस-यूक्रेन युद्ध के कारण ऊर्जा संकट से परेशान यूरोपीय संघ के लिए जनवरी में जीरो वृद्धि का अनुमान जताया था। विश्व बैंक ने चीन के लिए वृद्धि अनुमान को बढ़ाकर 5.6 फीसद कर दिया है। जबकि 2022 वित्त वर्ष में इसकी वृद्धि दर तीन प्रतिशत थी। जापान में वृद्धि दर के 1 फीसद से घटकर 0.8 फीसद रहने का अनुमान है।