मुनस्यारी- सर्दियों में अगर आप ट्रैकिंग के और इस किंग के शौकीन हैं तो उत्तराखंड का यह डेस्टिनेशन आपको जरूर पसंद आएगा. कुमाऊं गढ़वाल के मुनस्यारी तहसील के पास स्थित खालिया टॉप (Khaliya Top) आपकी ट्रैकिंग और साहसिक गतिविधियों की मंशा को पूरा करता है.समुद्र तल से करीब 3500 मीटर की ऊंचाई पर बसा खालिया टॉप आपको ना केवल एडवेंचरस टूरिज्म का आनंद देता है बल्कि यहां के प्राकृतिक नजारे आपकी इस ट्रैकिंग को चार चांद लगाने का काम करते हैं.
प्लास्टिक के सामान की एंट्री
खालिया द्वार पर ट्रैकिंग शुरू करने से पहले यहां आप की एंट्री होती है. यहां पर आपको ₹20 का एंट्री फी देना होता है. एंट्री कराते समय आपके द्वारा खालिया टॉप (Khaliya Top) पर ले जाए जाने वाले प्लास्टिक के सामान की भी लिस्ट बनाई जाती है. आपको ट्रैकिंग वापसी में प्लास्टिक के इस सामान की सूची के हिसाब से पूरा प्लास्टिक का सामान वापस लाना होता है. यदि आप उस प्लास्टिक के सामान में से कुछ भी चीज मिस करते हैं तो उस पर चार्ज किया जाता है. खालिया टॉप को प्लास्टिक दैत्य से बचाने के लिए यह पहल काफी कारगर साबित हो रही है.
6 किलोमीटर का ट्रैक
पिथौरागढ़ के मुनस्यारी से करीब 12 किलोमीटर दूर हिमालय में बर्फ से ढकी हुई अल्पाइन घास का मैदान है खलिया टॉप (Khaliya Top). यह ट्रैकिंग बलती मोड़ से शुरू होती है. जहां से आप खलिया टॉप से करीब 6 किलोमीटर दूर है. यह ट्रैक घने जंगलों से होकर गुजरता है जिसमें आपको पहाड़ी जानवर, पक्षियों के दीदार होते हैं.इस ट्रैक पर आपको पंचकूला,नंदा देवी, हरदेव, नंदा कोट और राज रंभा की पर्वत चोटियां दिखाई देंगी जो बर्फ की सफेद मोटी चादर से ढकी ही होती हैं. सूर्यास्त के समय यदि आप टॉप पर होते हैं तो खलिया टॉप का 360 डिग्री का मनोहारी दृश्य आपको ताउम्र याद रहने वाला साबित होगा. यहां से आपको बादलों से ढकी लहरदार चोटियों के दीदार होंगे. यूं तो खालिया टॉप का ट्रैक एक दिन में ही पूरा किया जा सकता है, लेकिन अगर आपको इस ट्रैक का पूरा आनंद लेना है तो आप यहां वीकेंड का प्लान करें.