देश में नीट यूजी परीक्षा में धांधली का शोर अभी थमा भी नहीं था कि यूजीसी-नेट परीक्षा में भी धांधली की आशंका सामने आ गई और इसी के मद्देनजर 20 जून को शिक्षा मंत्रालय ने यूजीसी-नेट जून 2024 परीक्षा को रद्द करने की घोषणा की। इस मामले की गहन जांच के लिए यह जिम्मेदारी सीबीआई को सौंपी जा रही है। सीबीआई परीक्षा में हुई अनियमितताओं की जांच करने जा रही है ताकि पता लगाया जा सके कि असली आरोपी कौन है।
गौरतलब है कि नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) ने 18 जून 2024 को देश के विभिन्न शहरों में दो शिफ्टों में ओएमआर मोड में यूजीसी-नेट जून 2024 परीक्षा आयोजित की थी। गृह मंत्रालय के तहत भारतीय साइबर अपराध समन्वय केंद्र से मिली जानकारी के आधार पर परीक्षा रद्द की गई है, जो प्रथम दृष्टया संकेत देती है कि परीक्षा की शुचिता से समझौता किया गया हो सकता है।
शिक्षा मंत्रालय ने अपनी प्रेस विज्ञप्ति में कहा, “नई परीक्षा आयोजित की जाएगी, जिसके लिए अलग से जानकारी साझा की जाएगी। साथ ही मामले की गहन जांच के लिए मामले को सीबीआई को सौंपा जा रहा है।” यह खबर ऐसे समय में आई है, जब हाल ही में नीट परीक्षा में धांधली के आरोप लगे थे। आरोपों के चलते कई शहरों में विरोध प्रदर्शन हुए और कई उच्च न्यायालयों के साथ-साथ सुप्रीम कोर्ट में भी याचिकाएं दायर की गईं।
यूजीसी-नेट परीक्षा रद्द होने के बाद कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने परीक्षा रद्द करने के फैसले को मोदी सरकार के “अहंकार” की हार बताया है, उन्होंने कहा कि इसी अहंकार के चलते प्रधानमंत्री मोदी ने हमारे युवाओं के भविष्य को रौंदने का घिनौना प्रयास किया। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा कि मोदी सरकार का “भ्रष्टाचार” युवाओं के लिए घातक है, उन्होंने सवाल किया कि क्या शिक्षा मंत्री इसकी जवाबदेही लेंगे। वहीँ कांग्रेस सांसद कार्ति पी चिदंबरम ने नीट परीक्षा को भी रद्द करने की मांग की है.