Israel Hamas War: इस्राइल-हमास युद्ध अगर लंबा खिंचा तो इसका असर भारत में देखने को मिल सकता है। ऐसा पेट्रोलियम मंत्री हरदीप पुरी का मानना है। पेट्रोलियम मंत्री हरदीप पुरी ने कहा, भारत स्थिति पर नजर रखे है। उन्होंने कहा कि जहां तक ऊर्जा का सवाल है तो यह बिल्कुल स्पष्ट कर देना चाहिए कि जिस स्थान पर ये युद्ध जारी है। वह कई मायनों में Global Energy Center है।
कच्चे तेल की कीमतों के साथ ही विश्व के शेयर बाजारों पर असर
इस्राइल व हमास युद्ध का असर कच्चे तेल की कीमतों के साथ ही विश्व के शेयर बाजारों पर दिखाई देने लगा है। भारत इससे अछूता नहीं है। घरेलू शेयर बाजारों में गिरावट के साथ युद्ध का असर दिखने की शुरुआत सोमवार को हो गई है। इस्राइस-हमास युद्ध लंबा खिंचा तो भारत पर चौतरफा असर पड़ सकता है।
सबसे बड़ी परेशानी कच्चे तेल को लेकर है। जो दोनों देशों में संघर्ष की शुरुआत के बाद से 4 प्रतिशत से अधिक महंगा हुआ है। क्रूड में उछाल से भारत में न सिर्फ महंगाई बढ़ेगी बल्कि चालू खाता घाटे पर इसका असर पड़ेगा। भारत अपनी जरूरतों का 85 प्रतिशत तेल आयात करता है। ब्लूमबर्ग के अनुसार, रैपिडन एनर्जी समूह के अध्यक्ष एवं व्हाइट हाउस के पूर्व अधिकारी बॉब मैकनेली ने कहा, अगर इस्राइल किसी ईरानी बुनियादी ढांचे पर हमला कर जवाब देता है तो क्रूड के दाम तुरंत बढ़ेगे। सोमवार को वैश्विक बाजार में कच्चा तेल 3 प्रतिशत तक महंगा हुआ। ब्रेंट क्रूड 2.28 प्रतिशत चढ़कर 86.86 डॉलर प्रति बैरल पहुंच गया। डब्ल्यूटीआई में 3 प्रतिशत की तेजी आई है।
तेल का 100 डॉलर के नीचे रहना जरूरी
विशेषज्ञों की मानें तो इस्राइल हमास के युद्ध का लंबा चलना चिंताजनक होगा। इससे कच्चे तेल की कीमतें तिहाई अंकों में पहुंचने की उम्मीद है। हालांकि, क्रूड की बढ़ती कीमतों से निपटने के लिए भारत अच्छी स्थिति में है। लेकिन फिर भी, इसकी कीमतों का 100 डॉलर प्रति बैरल से नीचे बने रहना भी जरूरी है।
स्थिति पर करीब से नजर
इस्राइल-हमास संघर्ष पर पेट्रोलियम मंत्री हरदीप पुरी ने कहा, भारत स्थिति पर करीबी नजर रखे है। जहां तक ऊर्जा का सवाल है तो यह बिल्कुल स्पष्ट कर देना चाहिए कि जिस स्थान पर यह जारी है, वह कई मायनों में वैश्विक ऊर्जा केंद्र है। इस पर करीबी नजर रखेंगे और देखेंगे कि आगे का रास्ता कैसे तय कर सकते हैं। अदाणी पोर्ट्स एंड एसईजेड ने कहा कि इस्राइल में स्थित हाइफा बंदरगाह पर उसके सभी कर्मचारी सुरक्षित स्थिति में हैं। वह हाइफा बंदरगाह को लेकर पूरी तरह सतर्कता बरत रहे हैं।