Small Savings Schemes: छोटी बचत योजनाओं में ज्यादा रुपए जमा होने पर केंद्र सरकार बाजार से कम उधारी लेने पर विचार कर सकती है। कॉरपोरेट कर संग्रह के पूरे साल के आंकड़े बजट अनुमान के अनुरूप रहने के संकेत हैं। इसे लंबी अवधि में देखा जाना चाहिए। हमें कुछ महीनों के आंकड़ों को नहीं देखना चाहिए।
छोटी बचत योजनाओं में अनुमान से अधिक रकम आने पर सरकार चालू वित्त साल में बाजार से कम उधारी ले सकती है। आर्थिक मामलों के सचिव अजय ने जानकारी दी कि चालू वित्त वर्ष में बाजार से 15.43 लाख करोड़ रुपए उधारी लेने का अनुमान है। इसमें से 8.88 लाख करोड़ रुपए अप्रैल से सितंबर के बीच लेने की योजना है।
सरकार का अनुमान है कि 17.89 लाख करोड़ रुपए के अनुमानित राजकोषीय घाटे का 26 प्रतिशत राष्ट्रीय लघु बचत कोष के निवेश से वित्त पोषित किया जाएगा। सेठ ने कहा कि छोटी बचत से कोई अतिरिक्त प्राप्ति सरकार के राजकोषीय घाटे के वित्तपोषण के अन्य स्रोतों से उधार लेने को कम करने में सहायत होगी। चालू वित्तीय वर्ष के पहले चार माह में छोटी बचत और जमा राशि पूरे साल के अनुमान 2.93 लाख करोड़ का 41 प्रतिशत थी। 2023-24 में यह अनुमान से अधिक रह सकती है।
बजट के अनुरूप कॉरपोरेट कर संग्रह
सेठ ने कहा कि कॉरपोरेट कर संग्रह के पूरे साल के आंकड़े बजट अनुमान के अनुरूप रह सकते हैं। इसे लंबी अवधि में देखा जाना चाहिए। हमें कुछ महीनों के आंकड़ों को नहीं देखना चाहिए। मेरी समझ है कि बजट अनुमान और राजस्व के संदर्भ में जो भी आंकड़े हैं, उन्हें साकार किया जाएगा।