Malaria vaccine: विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने बच्चों में मलेरिया की रोकथाम के लिए नए टीके R21/Matrix-M को मंजूरी दी है। एक आधिकारिक पत्र में ये जानकारी दी गई है। डब्ल्यूएचओ की ओर से ये मंजूरी टीकाकरण पर विशेषज्ञों के रणनीतिक सलाहकार समूह (एसएजीई), मलेरिया नीति सलाहकार समूह (एमपीएजी) की सलाह के बाद दी गई है। डब्ल्यूएचओ महानिदेशक ने 25-29 सितंबर को आयोजित नियमित द्विवार्षिक बैठक के बाद इस वैक्सीन का समर्थन किया।
WHO ने 2030, प्रमुख टीकाकरण कार्यक्रम संबंधी सिफारिशें जारी कीं
जारी किए गए निर्देश में कहा है, डब्ल्यूएचओ ने एसएजीई की सलाह पर डेंगू और मेनिन्जाटाइटिस के लिए नए टीके के साथ टीकाकरण कार्यक्रम और कोविड-19 के लिए उत्पाद सिफारिशें जारी कीं है। डब्ल्यूएचओ ने 2030, पोलियो और प्रमुख टीकाकरण कार्यक्रम संबंधी सिफारिशें जारी कीं।
आरटीएस, एस/एएस21 टीके के बाद आने वाला नया टीका आर21 टीका दूसरा मलेरिया टीका होगा। जिसे 2021 में डब्ल्यूएचओ की सिफारिश मिली थी। दोनों टीकों को बच्चों में मलेरिया को रोकने में सुरक्षित और प्रभावी देखा जा रहा है। इसके व्यापक रूप से लागू होने से सार्वजनिक स्वास्थ्य पर इसका असर देखने को मिलेगा। कहा गया है कि मच्छर जनित बीमारी मलेरिया अफ्रीकी क्षेत्र में बच्चों पर विशेष रूप से अधिक प्रभाव डालती है। यहां पर साल भर में पांच लाख बच्चे मलेरिया से मर जाते हैं।
कहा गया है कि मलेरिया टीकों की मांग अभूतपूर्व है। हालांकि, आरटीएस, एस की उपलब्ध आपूर्ति सीमित है। डब्ल्यूएचओ की तरफ से अनुशंसित मलेरिका टीकों की सूची में आर 21 के जुड़ने से ऐसे क्षेत्रों में रहने वाले सभी बच्चों टीके की आपूर्ति होने की उम्मीद है, जहां सार्वजनिक स्वास्थ्य के लिए मलेरिया बड़ा जोखिम है।
टीकाकरण पर विशेषज्ञों के रणनीतिक सलाहकार ग्रुप के साथ मीडिया ब्रीफिंग में डब्ल्यूएचओ महानिदेशक टेड्रोस अधनोम घेब्रेसियस ने कहा कि एक मलेरिया शोधकर्ता के रूप में मैं सपना देखता था जब हमारे पास मलेरिया के खिलाफ एक सुरक्षित और प्रभावी टीका हो। अब हमारे पास इसके दो टीके हैं।
सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने दी यह प्रतिक्रिया
सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (एसआईआई) ने कहा कि डब्ल्यूएचओ ने मलेरिया के टीके को मंजूरी दी है। जिससे दुनिया के दूसरे ऐसे टीके के लिए वैश्विक स्तर पर रोल-आउट हो गया है। एसआईआई ने अपने बयान में कहा कि ये मंजूरी प्री-क्लिनिकल और क्लिनिकल ट्रायल डाटा पर आधारित है। जिसने मौसमी और बारहमासी मलेरिया संचरण दोनों वाले स्थानों पर चार देशों में बेहतर सुरक्षा और उच्च प्रभावकारिता दिखाई। जिससे यह बच्चों में मलेरिया को रोकने के लिए दुनिया का दूसरा डब्ल्यूएचओ अनुशंसित टीका बनेगा।