केंद्रीय ट्रांसपोर्ट और हाइवे मंत्री नितिन गडकरी अपने बयानों को लेकर अकसर चर्चा में रहते हैं. उनकी इमेज भाजपा के कुछ उन नेताओं में होती है जो बड़ी साफगोई से अपनी बात रखते हैं. उनकी बातों से कभी कभी सरकार भी थोड़ा असहज हो जाती है लेकिन उनका कद इतना बड़ा है कि उनके खिलाफ पार्टी में कोई ज़्यादा बोलता नहीं है. साफगोई की कुछ बातें उन्होंने एक टीवी चैनल के कॉन्क्लेव में भी कहीं जो उनकी स्पष्टता को दर्शाती है. गडकरी ने कार्यक्रम में कहा कि वो राजनीति में चुनाव जीतने आये हैं कोई पूजा अर्चना करने नहीं.
चुनाव जीतना ही हमारा लक्ष्य
नितिन गडकरी दरअसल अभी पेश हुए केंद्रीय बजट को लेकर बोल रहे थे. इस बीच उन्होंने कहा कि हम लोग राजनीति में आये हैं तो कोई साधु सन्यासी तो हैं नहीं और न ही पूजा अर्चना करने आये हैं. हम यहाँ पर चुनाव जीतने आये हैं और हर नेता चुनाव को ही ध्यान में रखता है और जीतने के प्रयास करता है. गडकरी ने साउथ की मिसाल देते हुए कहा कि घाटे के बाद वहां बिजली सस्ती है क्योंकि चुनाव जीतना है. हर सरकार ऐसा करती है. सरकार अगर छूटों की घोषणा करती है तो चुनाव को देखकर करती है. जो अच्छा काम करेगा वो जीतेगा।
हर राज्य में बन रही हैं सड़कें
गडकरी ने अपने विभाग की बात करते हुए कहा कि आज देश के हर राज्य में सड़कें बन रही हैं, आप कोई भी एक राज्य ऐसा बताइये जहाँ सड़क निर्माण का काम नहीं हो रहा है. गडकरी ने यह बात उस सवाल पर कही जिसमें पूछा गया था कि चुनाव की आहट से प्रोजेक्टों की शुरुआत होती है. गडकरी ने यह भी कहा कि वो यह सब चुनाव की वजह से नहीं सोचते और अपने काम के बारे में ज़्यादा बात भी नहीं करते बस अपने तय किये गए लक्ष्य के हिसाब से काम करते रहते हैं. उन्होंने अपना लक्ष्य बताते हुए कहा कि 2024 से पहले वो देश में रोड का इंफ्रास्ट्रक्चर यूएस स्टैण्डर्ड के बराबर लाना चाहते हैं.