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यूपी भाजपा में अंतरकलह और बढ़ी, पूर्व मंत्री ने प्रदेश अध्यक्ष से माँगा इस्तीफ़ा

bhupinder

लोकसभा चुनाव में हार के बाद उत्तर प्रदेश भाजपा में चल रही अंदरूनी कलह की ख़बरों को और हवा दी गयी है, ये हवा पूर्व मंत्री सुनील भराला ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर एक पोस्ट के ज़रिये दी है जिसने पार्टी में बढ़ती उथल-पुथल के बीच गर्मी बढ़ा दी है। सुनील भराला ने सीधे परंपरा का हवाला देते हुए लोकसभा चुनाव 2024 में करारी हार के लिए प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी को पद से इस्तीफा देने की बात कही है । भराला ने अपनी बात को डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य के उस बयान से जोड़ा जिसमें उन्होंने कहा था कि संगठन सरकार से बड़ा है।

पूर्व मंत्री ने इसके अलावा उन्होंने पंडित दीनदयाल के शब्दों को भी उद्धृत करते हुए कहा कि मेरी समझ में संगठन की जिम्मेदारी भी बड़ी है। उन्होंने आगे कहा कि उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य की बात का मतलब यह रहा होगा कि हार के लिए संगठन की बड़ी जिम्मेदारी है। इसलिए प्रदेश अध्यक्ष को हार की नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए तुरंत अपने पद से इस्तीफा दे देना चाहिए। बता दें कि कल ही भूपिंदर चौधरी ने हर के लिए अपने ऊपर नैतिक ज़िम्मेदारी ली थी.

सुनील भराला ने कहा कि भाजपा में ऐसी परंपरा रही है, कलराज मिश्र, विनय कटियार आदि तत्कालीन अध्यक्षों ने हार के बाद इस्तीफा दिया है। संगठन का असली कार्यकर्ता वही है जो अपनी गद्दी से पहले अपने संगठन और पार्टी के बारे में सोचता है। इससे पहले प्रदेश के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने भी दिल्ली में भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष से मुलाकात की थी, ऐसे में कहा जा रहा था कि मुख्यमंत्री आदित्यनाथ इस्तीफा दे सकते हैं लेकिन ऐसा नहीं हुआ।

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