हर चुनावी मौसम में पार्टियों से लोगों का जुड़ना और निकलना एक परम्परा रही है, इस परंपरा का निर्वाह आज गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री शंकर सिन्ह बघेला के सुपुत्र महेंद्र सिन्ह वाघेला ने किया। वाघेला पुत्र ने आज भाजपा छोड़ कांग्रेस का हाथ पकड़ लिया है, पार्टी छोड़ने की वजह पूछने पर महेंद्र सिन्ह वाघेला ने कहा कि भाजपा में अब उनका मन नहीं लग रहा था. उन्होंने कहा कि मैं कांग्रेस में टिकट के लालच से नहीं आया हूँ. पार्टी अगर चुनाव लड़ने के लिए कहेगी तो ज़रूर लडूंगा नहीं तो संगठन का काम करूंगा.
गुजरात विधानसभा चुनाव से पहले महेंद्र सिंह वाघेला का भाजपा छोड़ कांग्रेस पार्टी में शामिल होना कांग्रेस पार्टी की एक बड़ी कामयाबी है. कांग्रेस पार्टी जॉइन करने के अवसर पर उन्होंने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि वह काफी दिनों से इस बारे में सोच रहे थे इसीलिए भाजपा के किसी कार्यक्रम में हिस्सा भी नहीं ले रहे थे, भाजपा से दरअसल उनका मन उचट गया था क्योंकि उनकी सोच अलग पड़ जाती थी. बता दें कि महेंद्र सिंह कांग्रेस के टिकट पर 2012 में बयाड से चुनाव जीत चुके हैं. यह उनकी घर वापसी है. 2017 में कांग्रेस पार्टी का हाथ झटककर उन्होंने भाजपा का दामन थामा था, इनकी जोइनिंग के अवसर पर गुजरात प्रदेश कांग्रेस समिति के प्रमुख जगदीश ठाकोर और राष्ट्रीय प्रवक्ता आलोक शर्मा मौजूद रहे.
बता दें कि महेंद्र सिंह वाघेला के पिता शंकर सिंह वाघेला ने हाल ही में अपनी खुद की पार्टी लॉन्च की है जिसका नाम प्रजा जनशक्ति पार्टी है. इस सवाल पर कि आपने अपने पिता की पार्टी क्यों नहीं ज्वाइन की, महेंद्र सिंह वाघेला ने कहा कि पिता की इजाज़त के बाद ही कांग्रेस पार्टी में शामिल हुआ हूँ. हालाँकि चुनाव आयोग की ओर से अभी गुजरात चुनाव के लिए तारीखों का एलान नहीं हुआ है लेकिन मीडिया में चल रही ख़बरों के मुताबिक दिवाली बीत चुकी है और अब कभी भी निर्वाचन आयोग तारीखों के एलान की परंपरा का पालन कर सकता है. बता दें कि हिमाचल प्रदेश के चुनाव की तारीखों के एलान के समय निर्वाचन आयोग से सवाल किया गया था कि गुजरात चुनाव की तारीखों एलान क्यों नहीं किया गया तब निर्वाचन आयोग की तरफ से कहा गया कि हम परंपरा का पालन कर रहे हैं.