वाशिंगटन। अमेरिका में हो रहे जी20 के सम्मेलन में सभी सदस्य देश इस बात पर सहमत हो गए हैं कि क्रिप्टो करेंसी को लेकर एक वैश्विक समझ बनाने की जरूरत है। इससे ना सिर्फ क्रिप्टो की चुनौतियों से निपटने में मदद मिलेगी बल्कि इसका नियमन हो सकेगा। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने ये बातें कही हैं। एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान निर्मला सीतारमण ने कहा कि जी20 देशों ने भी इस पर सहमति जताई है और जल्द ही इसे लेकर कार्य योजना बनाई जाएगी। वित्तमंत्री ने की अहम बैठक निर्मला सीतारमण ने कहा कि मुझे खुशी है कि सभी जी20 देशों ने इस बात को स्वीकार किया है कि क्रिप्टो करेंसी के खिलाफ कोई भी कार्रवाई वैश्विक होनी चाहिए और सभी देशों ने इस पर त्वरित प्रतिक्रिया दी। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) और वर्ल्ड बैंक की वार्षिक बसंत बैठक के अलावा केंद्रीय मंत्री निर्मला सीतारमण और भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने जी20 के सदस्य देशों के केंद्रीय बैंक के गवर्नर्स के साथ भी एक अहम बैठक की। आर्थिक अस्थिरता का खतरा वित्त मंत्री ने कहा कि जी20 के सदस्य देश इस बात पर सहमत हैं कि कोई एक देश अपने दम पर क्रिप्टो करेंसी की चुनौतियों से नहीं निपट सकता और इसके लिए वैश्विक समझ बनाने की जरूरत है। क्रिप्टो करेंसी पर IMF के पेपर और फाइनेंशियल स्टेबिलिटी बोर्ड के पेपर पर चर्चा करके उनका एक निचोड़ तैयार करके अलग पेपर तैयार किया जाएगा। सितंबर और अक्टूबर में होने वाली बैठकों में भी इस पर चर्चा की जाएगी। जिसमें क्रिप्टो करेंसी का नियमन करने का रोडमैप तैयार किया जाएगा। वित्त मंत्री ने कहा कि क्रिप्टो करेंसी के चलते व्यापक आर्थिक अस्थिरता हो सकती है।
Americas G20 Summit: क्रिप्टो करेंसी को लेकर एकमत हुए G20 सदस्य, वित्तमंत्री ने रखी ये बात
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